ग्रीन फील्ड स्कूल के वार्षिकोत्सव में समावेशी शिक्षा और हिमालय संरक्षण की सराहना, धस्माना और डॉ. हसीन हुए शामिल

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देहरादून। डालनवाला स्थित ग्रीन फील्ड स्कूल के वार्षिकोत्सव में शनिवार को मुख्य अतिथि उत्तराखंड सरकार की उच्च शिक्षा उन्नयन समिति के उपाध्यक्ष एवं डीएवी कॉलेज के पूर्व प्राचार्य डॉ. देवेंद्र भसीन तथा विशिष्ट अतिथि प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना ने शिरकत की।

डॉ. देवेंद्र भसीन ने अपने संबोधन में ग्रीन फील्ड स्कूल को समावेशी शिक्षा का उत्कृष्ट उदाहरण बताया। उन्होंने कहा कि सामान्य और दिव्यांग बच्चों को एक साथ पढ़ाने-लिखाने व सभी गतिविधियों में शामिल करने का यह मॉडल देहरादून सहित पूरे प्रदेश के अन्य स्कूलों के लिए अनुकरणीय है। दिव्यांग बच्चों की प्रस्तुतियों से अभिभूत डॉ. भसीन ने स्कूल प्रबंधन को हरसंभव सहयोग का आश्वासन दिया।

विशिष्ट अतिथि सूर्यकांत धस्माना ने बच्चों द्वारा प्रस्तुत “हिमालय बचाओ” नाटिका की भूरि-भूरि प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि गंगा, यमुना, शारदा एवं सहायक नदियों में बढ़ते प्रदूषण, अवैध कटान, ग्लेशियर पिघलने और ग्लोबल वॉर्मिंग जैसे गंभीर मुद्दों को बच्चों ने जिस संवेदनशीलता और तन्मयता से अभिनय के माध्यम से प्रस्तुत किया, वह काबिल-ए-तारीफ है। उत्तराखंड को एशिया का जल भंडार बताते हुए श्री धस्माना ने इन नदियों के अस्तित्व को बचाने को सभी का परम कर्तव्य बताया।

उन्होंने राज्य स्थापना के 25 वर्ष बाद भी बढ़ते पलायन पर गहरी चिंता जताई और पहाड़ों में खराब स्वास्थ्य सेवाएं, शिक्षा का गिरता स्तर और रोजगार के अभाव को पलायन का प्रमुख कारण बताया। धस्माना ने कहा कि पहाड़ों को खाली होने से बचाना है तो शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार की उपलब्धता को सरल बनाना होगा।

कार्यक्रम की शुरुआत दिव्यांग बच्चों के मनमोहक नृत्य और कैटवॉक से हुई, जिसने दर्शकों की खूब वाहवाही बटोरी। कक्षा 6 से 8 तक के बच्चों ने “हिमालय बचाओ” और “पलायन की पीड़ा” जैसे संदेशपरक लघु नाटक प्रस्तुत किए, जिन्हें अभिभावकों ने खूब सराहा।

समारोह में स्कूल निदेशक डॉ. अनिल जग्गी एवं प्रधानाचार्या डॉ. रीना जग्गी ने मुख्य अतिथि डॉ. देवेंद्र भसीन और विशिष्ट अतिथि सूर्यकांत धस्माना को स्मृति चिह्न भेंटकर सम्मानित किया। कार्यक्रम के अंत में शुभांग जग्गी ने सभी अतिथियों एवं अभिभावकों के प्रति आभार व्यक्त किया।

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